लखनऊ न्यूज डेस्क: लखनऊ में एक दारोगा की मौत के बाद उनके पार्थिव शरीर को लेकर उस समय बड़ा विवाद खड़ा हो गया जब उनकी दोनों पत्नियां उसे लेने पहुंच गईं। एक ओर जहां पहली पत्नी चंद्रकुमारी अपने बच्चों के साथ शव लेने आई थीं, वहीं दूसरी पत्नी आराधना भी शव पर दावा जताने लगीं। बात इतनी बढ़ गई कि दोनों महिलाओं के बीच मारपीट की नौबत आ गई और मौके पर पुलिस को आकर बीचबचाव करना पड़ा।
दारोगा संजय पाठक की तैनाती उरई में थी और वे दूसरी पत्नी आराधना के साथ लखनऊ में रह रहे थे, जबकि पहली पत्नी जौनपुर में रहती थीं। संजय की सोमवार रात तबीयत बिगड़ी और अस्पताल पहुंचने से पहले ही उनकी मौत हो गई। पोस्टमार्टम के बाद जब शव पर अधिकार को लेकर विवाद हुआ तो पुलिस ने हस्तक्षेप कर निर्णय लिया और शव को उनके पिता को सौंप दिया गया।
जांच में अभी तक मौत का कारण स्पष्ट नहीं हो पाया है, इसलिए विसरा जांच के लिए नमूने सुरक्षित रखे गए हैं। चंद्रकुमारी के बेटे ने गंभीर आरोप लगाए हैं कि उनके पिता को दूसरी पत्नी ने संपत्ति के लालच में ज़हर देकर मारा है। दूसरी ओर आराधना ने इन आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि मौत प्राकृतिक कारणों से हुई है।
इस पूरे विवाद ने ना केवल परिवार को बल्कि प्रशासन को भी उलझन में डाल दिया है। अब सभी की नजरें पोस्टमार्टम रिपोर्ट और विसरा जांच पर टिकी हैं, जिससे सच्चाई सामने आ सके।